प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने टोक्यो ओलंपिक में भाग लेने वाले भारतीय खिलाड़ियों को अपने सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन पर ध्यान केंद्रित करने के लिए कहा है। पिछले दिनों उन्होंने खिलाड़ियों से संवाद करते हुए संघर्ष, त्याग और धैर्य की कहानियों के साथ उनकी फिटनेस एवं खेल के प्रति एकाग्रता पर भी चर्चा की। अब देशवासियों की नजरें एक बार फिर से भारत के लिए गोल्ड मेडल जीतने वाले खिलाड़ियों पर रहेंगी। यह कहना अतिश्योक्ति न होगा कि, हॉकी जगत में भारत को आज भी महाशक्ति के रूप में देखा जाता है। विशेषज्ञों का कहना है कि 1980 के मास्को ओलंपिक के बाद से निरंतर प्रशिक्षण के उपरांत पुरुष हॉकी टीम पहले से ज्यादा मजबूत हुई है। इस समय युवा खिलाड़ियों के साथ अपार संभावनाएं है साथ ही सम्मिलित वरिष्ठ खिलाडियों के अनुभवों का लाभ भी टीम को मिलेगा। कप्तान मनप्रीत का कहना है कि टोक्यो के मौसम में ढलने के लिए हम दोपहर में प्रैक्टिस कर रहे हैं। संभावना यह व्यक्त की जा रही है कि यदि पुरुष हॉकी टीम शीर्ष चार तक पहुंच जाती है तो उसके देश के लिए मेडल जीतने के अवसर बढ़ जाते हैं वहीं अपनी टीम के प्रति आश्वस्त महिला हॉकी टीम की कप्तान रानी रामपाल का कहना है कि एक टीम के तौर पर खेलते हुए हमारा प्रयास होगा कि हम हमारा हर खिलाड़ी अपनी भूमिका अच्छे से निभाए। इस समय जोश से भरी दोनों टीमें अपनी तैयारियों को अंतिम रूप देने में लगी हैं। 24 जुलाई को पुरुष हॉकी टीम का पहला मैच न्यूजीलैंड से होगा जबकि महिला हॉकी टीम नीदरलैंड से भिड़ेंगी। इस समय टोक्यो से निकटम प्रदेश कान्हागवां में निवास कर रहे रंग संस्कृति के चीफ ब्यूरो उत्कर्ष बताते हैं की टोक्यो में इस समय तापमान 35 डिग्री के आसपास बना हुआ है किंतु चारों तरफ समुद्र होने के कारण यहां आद्रता अधिक होती है। अनुमान है कि दूसरे देशों के कम तापमान में रहने वाले खिलाड़ियों की अपेक्षा भारतीय खिलाड़ियों को ऐसे मौसम में खेलने में दिक्कतें नहीं होंगी। वही ओलंपिक में भाग लेने वाले 11 खिलाड़ियों के साथ जुड़े फिजियोथैरेपिस्ट जॉन ब्लास्टर का मानना है कि गेम्स के दौरान दर्शकों के ना आने से भारतीय खिलाड़ियों को लाभ ही होगा क्योंकि कोविड-19 के प्रभाव के चलते खिलाड़ियों ने अपनी मेंटल हेल्थ पर काफी काम किया है और वे मानसिक रूप से मजबूत हुए हैं। इन सभी आशाओं के साथ हम भी उपलब्ध माध्यमो से दुनिया मे देश का नाम रोशन करने वाले सभी प्रतिभागियों का तहेदिल उत्सावर्धन करें। कहते हैं उम्मीद पर दुनियां कायम है।हमे भी आतुरता से प्रतीक्षा रहेगी।