नाटक ‘ग्राम जागले’ में दिखाई-महाराष्ट्र के ग्राम्य जीवन की झलक

भोपाल। मध्यप्रदेश जनजातीय संग्रहालय में रंग प्रयोगों के प्रदर्शन की साप्ताहिक श्रृंखला ‘अभिनयन‘ में शुक्रवार निरंजन भाकरे के निर्देशन में ‘ग्राम जागले‘ का मंचन हुआ। इस प्रस्तुति के केन्द्र में महाराष्ट्र का ग्रामीण जीवन रहा, प्रस्तुति में कलाकारों ने अपने अभिनय कौशल से सभी दर्शकों को मोह लिया। नाटक की शुरुआत ग्रामीण जीवन की सुबह से होती है। उसके बाद क्या-क्या क्रिया-कलाप ग्रामीण व्यक्ति करता है तथा उसके संघर्ष और आत्मविश्वास को कलाकारों ने मंच पर प्रस्तुत किया। इसके अतिरिक्त पर्यावरण प्रदूषण, बेटी बचाव, राष्ट्रीय एकात्मता, जलसंधारण करने की प्रेरणा कलाकारों ने नाटक के माध्यम से दर्शकों को दी। 

       प्रस्तुति के दौरान मंच पर निरंजन भाकरे, शिवसिंगा गोमलाडू, शेखर भाकरे, भगतसिंग ठाकुर, चतरसिंग राजपूत, विष्णु गोडबोले, सागर, समाधान, रवि सिरसाठ और गणपत पंडित आदि ने अपने अभिनय कौशल से सभी दर्शकों को मंत्रमुग्ध कर दिया। निर्देशक निरंजन भाकरे अनेक वर्षों से रंग कर्म के क्षेत्र से जुड़े हैं। निरंजन भाकरे ने नाटकों में अभिनय करने के साथ ही अनेक नाटकों का निर्देशन भी किया है। प्रस्तुति के दौरान दशेक कलाकरों का उत्साहवर्धन करते हुए दिखाई दिये।

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