भोपाल। विश्वरंग के अंतर्गत आयोजित पुस्तक प्रदर्शनी ने इस वर्ष पाठकों और पुस्तक प्रेमियों का विशेष ध्यान आकर्षित किया। 27 से 30 नवंबर 2025 तक चली इस प्रदर्शनी में देशभर के लगभग 25 प्रमुख प्रकाशकों ने सहभागिता की। प्रदर्शनी में साहित्य, संस्कृति, विज्ञान, बाल एवं युवा साहित्य, कला, और देश-दुनिया की विविध विधाओं से जुड़ी नई एवं चर्चित पुस्तकों का व्यापक प्रदर्शन किया गया।
विश्वरंग में आए हजारों दर्शकों—विशेषकर भोपाल के युवाओं और बच्चों—ने प्रदर्शनी में उपलब्ध पुस्तकों का अवलोकन किया, उन्हें खरीदा और प्रकाशकों के साथ बातचीत की। ज्ञान और साहित्य आधारित यह पहल युवाओं में पठन संस्कृति को प्रोत्साहित करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम साबित हुई।
पुस्तक प्रदर्शनी का शुभारंभ विश्वरंग के निदेशक और रबिन्द्र नाथ टैगोर यूनिवर्सिटी के कुलाधिपति श्री संतोष चौबे तथा साहित्य अकादमी म.प्र. के निदेशक डॉ. विकास दवे द्वारा किया गया। दोनों अतिथियों ने पुस्तकों के प्रति बढ़ती रुचि को सकारात्मक सांस्कृतिक परिवर्तन बताया।
प्रदर्शनी में प्रमुख रूप से आईसेक्ट पब्लिकेशन, नेशनल बुक ट्रस्ट, साहित्य अकादमी, राजकमल, वाणी, भारतीय ज्ञानपीठपीठ, राजपाल एंड संस सहित अनेक प्रतिष्ठित प्रकाशकों की पुस्तकें उपलब्ध रहीं, जिन्हें पाठकों ने विशेष सराहना दी।
विश्वरंग निदेशक श्री संतोष चौबे ने कहा कि युवा पीढ़ी को पुस्तकों से जोड़ना हमारा प्रमुख उद्देश्य है, और विश्वरंग की यह प्रदर्शनी उसी दिशा में एक प्रभावी प्रयास है। साहित्य समाज की समझ और संवेदनशीलता को बढ़ाने का सबसे शक्तिशाली माध्यम है।
डॉ. विकास दवे ने कहा कि विश्वरंग की पुस्तक प्रदर्शनी न सिर्फ पुस्तकों का मेला है, बल्कि यह भारतीय ज्ञान–परंपरा और हमारे साहित्यिक वैभव का उत्सव भी है। ऐसे आयोजन हमारी सांस्कृतिक पहचान को नई पीढ़ी तक पहुँचाने का अनूठा माध्यम हैं।















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